आगरा, कानपुर, वाराणसी, गाजियाबाद और मेरठ को वायु गुणवत्ता सुधार के लिए मिलेंगे 255.12 करोड़ रुपए
भारत सरकार का पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय उत्तर प्रदेश के 5 मिलियन प्लस शहरों को प्रदान करेगा प्रोत्साहन राशि
सीएम योगी के कुशल नेतृत्व में वायु प्रदूषण से निपटने और सतत विकास लक्ष्यों को हासिल करने के लिए यूपी के इन शहरों ने किया अच्छा प्रदर्शन
इस राशि के उपयोग से इन शहरों में वायु गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए जन जागरूकता के साथ ही आवश्यक प्रयास भी किए जाएंगे
LUCKNOW : उत्तर प्रदेश में नगरीय जीवन गुणवत्ता में सुधार और पर्यावरण को बेहतर व प्रदूषण मुक्त बनाने के लिए भारत सरकार का पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय, प्रदेश के मिलियन प्लस शहरों आगरा, कानपुर, वाराणसी, गाजियाबाद और मेरठ को 255.12 करोड़ रुपए की प्रोत्साहन धनराशि प्रदान करेगा। इस राशि के उपयोग से इन शहरों में वायु गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए जन जागरूकता के साथ ही आवश्यक प्रयास भी किए जाएंगे।
अच्छे प्रदर्शन के लिए मिलेगा अनुदान
केंद्र सरकार पिछले 09 वर्षों से भारतीय शहरों को स्वच्छ और प्रदूषण मुक्त बनाने के लिए लगातार प्रयासरत है। इसी क्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के कुशल नेतृत्व में उत्तर प्रदेश के शहरों ने वायु प्रदूषण से निपटने, सतत विकास लक्ष्यों को हासिल करने और प्रदेश की समृद्ध जैव विविधता के संरक्षण की दिशा में महत्वपूर्ण प्रगति की है। पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा 15वें वित्त आयोग की संस्तुतियों के अन्तर्गत वित्तीय वर्ष 2023-24 में बेहतर प्रदर्शन करने वाले शहरों को अवितरित अनुदानों के वितरण के लिए उत्तर प्रदेश के मिलियन प्लस श्रेणी के 05 शहरों को वित्तीय वर्ष 2023-24 में PM10 conc में कमी लाने तथा वायु गुणवत्ता सुधार के चलते उच्च प्रदर्शन किए जाने के फलस्वरूप कुल 255.12 करोड़ रुपए की प्रोत्साहन धनराशि देने का निर्णय किया है।
वायु प्रदूषण मुक्त होगा पर्यावरण
varaर्यावरण सुधार के क्षेत्र में अच्छा प्रदर्शन करने वाले प्रदेश के मिलियन प्लस शहरों में आगरा, कानपुर, वाराणसी, गाजियाबाद और मेरठ को यह धनराशि उपलब्ध कराई जाएगी। यह धनराशि इन शहरों में वायु गुणवत्ता में सुधार को और भी बेहतर बनाने के लिए किए जाने वाले कार्यों के लिए उपयोग की जाएगी। धनराशि के प्रयोग से वायु गुणवत्ता सुधार के लिए शहरवासियों में जन जागरूकता उत्पन्न करने, शहरों की सड़कों पर धूल नियंत्रण (PM10), प्रदूषण फैलाने वाले उद्योगों पर नियंत्रण, पोधारोपण और सार्वजनिक परिवहन को बढ़ावा देने जैसे कार्य सम्मिलित होंगे। इस धनराशि के आवंटन से उत्तर प्रदेश के इन शहरों में वायु गुणवत्ता में सुधार होने से पर्यावरण वायु प्रदूषण मुक्त होगा। फलस्वरूप नगरवासियों को स्वच्छ और स्वस्थ वातावरण देने के लिए चलाई जा रही केंद्र और राज्य सरकार की मुहिम को बल मिलेगा।
